राम नवमी व्रत कथा

|| राम नवमी व्रत कथा || भगवान श्री विष्णु ने अपने सातवें अवतार के रूप में मर्यादा पुरुषोत्तम श्री रामचंद्र के रूप में जन्म लेकर अनेक अद्भुत लीलाएं रचीं। अंततः उन्होंने अहंकारी रावण का संहार कर धर्म की विजय स्थापित की। श्री राम जी के जन्मोत्सव को राम नवमी के रूप में श्रद्धा और हर्षोल्लास…

रामचन्द्रपादुकामहामन्त्रः

|| रामचन्द्रपादुकामहामन्त्रः || अस्य श्रीरामपादुकामहामन्त्रस्य नारायणाय ऋषये नमः शिरसि । अनुष्टुभे छन्दसे नमः मुखे । श्री पादुकाख्य परमात्मने देवतायै नमः हृदये । हंसः बीजाय नमः गुह्ये । सोऽहं शक्तये नमः पादयोः । ऐं कीलकाय नमः नाभौ । श्रीरामचन्द्रप्रसादसिद्ध्यर्थे श्रीगुरोराज्ञया जपे विनियोगाय नमः । सर्वाङ्गे करन्यासः / हृदयादि न्यासः । हंसां अङ्गुष्ठाभ्यां नमः हृदयाय नमः ।…

Unexplored Aspects of Ramayana – रामायण के अनसुने प्रसंग, जो बदल सकते हैं आपके जीवन के दृष्टिकोण

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रामायण केवल एक धार्मिक ग्रंथ ही नहीं, बल्कि जीवन का मार्गदर्शन करने वाली एक अद्भुत गाथा भी है। इसमें ऐसे कई अनसुने प्रसंग छिपे हैं, जो हमें सही जीवन जीने की प्रेरणा देते हैं। इस लेख में हम उन अनसुने प्रसंगों को जानेंगे जो आपके दृष्टिकोण को बदल सकते हैं और आपको एक नई दिशा…

श्रीकालूरामाचार्यनिर्मितं श्रीरामब्रह्माष्टकं

|| श्रीकालूरामाचार्यनिर्मितं श्रीरामब्रह्माष्टकं || नमस्कृत्य गुरं रामानन्दं भाष्यकृतं तथा । मुक्तिदमष्टकं कुर्वे श्रीरामब्रह्मणः शुभम् ॥ १॥ सर्जको जगतो यश्च जगतः पालकश्च यः । जगत्संहारको यश्च रामं ब्रह्म नमामि तम् ॥ २॥ येन सम्पादिता वेदाः प्रदत्ता ब्रह्मणे तथा । ब्रह्मा चोत्पादितो येन रामं ब्रह्म नमामि तम् ॥ ३॥ आमनन्ति च वेदा हि सर्वे नित्यं च यत्पदम्…

श्रीअनन्तानन्दाचार्यकृतं श्रीराममन्त्रराजपरम्परा स्तोत्रम्

|| श्रीअनन्तानन्दाचार्यकृतं श्रीराममन्त्रराजपरम्परा स्तोत्रम् || परधाम्नि स्थितो रामःपुण्डरीकायतेक्षणः । सेवया परया जुष्टो जानक्यै तारकं ददौ ॥ १॥ श्रियः श्रीरपि लोकानां दुखोद्धरणहेतवे । हनूमते ददौ मन्त्रं सदा रामाङ्घ्रिसेविने ॥ २॥ ततस्तु ब्रह्मणा प्राप्तो मुह्यमानेन मायया । कल्पान्तरे तु रामो वै ब्रह्मणे दत्तवानिमम् ॥ ३॥ मन्त्रराजजपं कृत्वा धाता निर्मातृतां गतः । त्रयीसारमिमं धातुर्वसिष्ठो लब्धवान् परम् ॥ ४॥…

श्रीरामसर्वस्वस्तोत्रम्

|| श्रीरामसर्वस्वस्तोत्रम् || ॥ अथ श्रीरामसर्वस्वस्तोत्रम् ॥ रामो माता मत्पितारामचन्द्रो भ्रातारामो मत्सखा रामचन्द्रः । रामः स्वामी राम एवार्थदाता रामादन्यं नैव जाने न जाने ॥ १॥ रामः सेव्यो वन्दनीयोऽपि रामो रामोनित्यं मादृशैश्चितनीयः । रामो ज्ञानं ध्यानगम्योऽपि रामो रामादन्यं नैव जाने न जाने ॥ २॥ रामो भुक्तिर्मुक्तिदाता च रामो रामोऽस्माकं राजते राजराजः । लोकेऽस्माभिर्लोक्यते रामचन्द्रो रामादन्यं नैव…

Shri Ram Aarti

|| Shri Ram Aarti || Shri Ramachandra Kripalu Bhajman Harana Bhavabhaya Daarunam । Navakanja Lochana Kanja Mukhakara, Kanja Pada Kanjaarunam ॥ ॥ Shri Ramchandra Kripalu..॥ Kandarpa Aganita Amita Chhav Nava, Neela Neerara Sundaram । Patapita Maanahum Tadita Ruchi Shuchi, Navmi Janaka Sutaavaram ॥ ॥ Shri Ramchandra Kripalu..॥ Bhaju Deena Bandhu Dinesh Daanav, Daityavansha Nikandanam ।…

श्री राम आरती

|| श्री राम आरती || श्री रामचन्द्र कृपालु भजु मन, हरण भवभय दारुणम्। नव कंज लोचन, कंज मुख कर कंज पद कंजारुणम्॥ ॥श्री रामचन्द्र कृपालु..॥ कन्दर्प अगणित अमित छवि, नव नील नीरद सुन्दरम्। पट पीत मानहुं तड़ित रूचि-शुचि नौमि जनक सुतावरम्॥ ॥श्री रामचन्द्र कृपालु..॥ भजु दीनबंधु दिनेश दानव दैत्य वंश निकन्दनम्। रघुनन्द आनन्द कन्द कौशल…

राम अवतार स्तोत्र

|| Ram Avtar Stotram || भये प्रगट कृपाला, दीनदयाला कौसल्या हितकारी हरषित महतारी, मुनि मनहारी अद्भुत रूप बिचारी लोचन अभिरामा, तनु घनस्यामा, निज आयुध भुज चारी भूषन वनमाला, नयन बिसाला, सोभासिंधु खरारी कह दुइ कर जोरी, अस्तुति तोरी, केहित बिधि करूं अनंता माया गुन ग्यानातीत अमाना, वेद पुरान भनंता करुना सुख सागर, सब गुन आगर,…

श्रीराम भुजंग स्तोत्र

|| श्रीराम भुजंग स्तोत्र || विशुद्धं परं सच्चिदानन्दरूपम् गुणाधारमाधारहीनं वरेण्यम् । महान्तं विभान्तं गुहान्तं गुणान्तं सुखान्तं स्वयं धाम रामं प्रपद्ये ॥ १ ॥ शिवं नित्यमेकं विभुं तारकाख्यं सुखाकारमाकारशून्यं सुमान्यम् । महेशं कलेशं सुरेशं परेशं नरेशं निरीशं महीशं प्रपद्ये ॥ २ ॥ शिवाय विष्णुरूपाय शिवरूपाय विष्णवे । शिवस्य हृदयम् विश्णु विष्णोश्च हृदयम् शिवः ॥ यदावर्णयत्कर्णमूलेऽन्तकाले शिवो…

श्रीराघवेन्द्रकरुणालहरी

|| श्रीराघवेन्द्रकरुणालहरी || त्वङ्गत्तुङ्ग-तरङ्ग-मङ्गल-नदी-तुङ्गान्तरङ्ग-स्थली- रङ्गोत्सङ्ग-निषङ्गि-वात-विधुताम्भः प्लाविते पाविते । श्रीमन्त्रालय-नाम्नि धाम्नि वसते चाशंसते शं सते मन्त्रालोचनमार्ति-नाशन-कृते पुंसां नमस्तन्वते ॥ १॥ नो मञ्चा न गृहा न चञ्चल-दृशो द्रव्यं श्रमात्सञ्चितं चञ्चत् किञ्चन किञ्च काञ्चनमपि त्वां चानुयान्त्यत्यये । सञ्चित्यैवमिदं च मुञ्च सकलं प्रापञ्चिकं नश्वरं मञ्चाली-गुरुमञ्च शाश्वत-सुखं त्वं चेत्सखे वाञ्छसि ॥ २॥ इष्टार्थाकलनान्नृणामिह तथा कष्टावलेर्वारणात् कुष्ठापस्मृति-पूर्व-भीकर-रुजा-दुष्ट-ग्रहोत्सारणात् । प्रेष्ठो भक्तततेस्तथा भगवतः…

श्रीरामसौन्दर्यलहरी

|| श्रीरामसौन्दर्यलहरी || यद्दीनेषु धरासुतारमण ते नेत्रद्वयं जात्वपि प्रान्तेक्षाकनिताखिलार्त्यपगमद्ध्यानाद्यकुर्वत्स्वपि । नित्यं प्रेमदयोर्जितं निविशते तत्सन्ततं भक्तितः त्वत्सेवैकहृदः कथं न विषयीकुर्यात्तथा नः कृशान् ॥ १॥ मुग्धं राम तवाननं सहृदयं लोकस्य सम्पश्यतो नेत्रं विस्तृतपक्ष्मविभ्रममितो नापैति लक्ष्म्या यया । शीतांशुं विमलं न सा बहुशरद्राकोद्भवास्वेकदा श्रीष्वप्यार्य गतासु तादृशि मनाग्लक्ष्येत भिन्ने किमु ॥ २॥ चन्द्रं तवाननसमं द्रुहिणो विधातु- मेकैकया प्रतिदिनं कलया…

मंगल भवन अमंगल हारी – भजन

|| मंगल भवन अमंगल हारी || मंगल भवन अमंगल हारी द्रबहु सुदसरथ अचर बिहारी राम सिया राम सिया राम जय जय राम हो, होइहै वही जो राम रचि राखा को करे तरफ़ बढ़ाए साखा हो, धीरज धरम मित्र अरु नारी आपद काल परखिये चारी हो, जेहिके जेहि पर सत्य सनेहू सो तेहि मिलय न कछु…

हरे राम हरे रामा जपते थे हनुमाना – भजन

|| हरे राम हरे रामा जपते थे हनुमाना || हरे राम हरे रामा, जपते थे हनुमाना, इस मंत्र कि महिमा को, सारे जग ने जाना || जब केवट ने मुख से, इस मंत्र के बोल पढ़े, त्रिलोकपति आकर, केवट की नाव चढ़े || हरे राम हरें रामा, जपते थे हनुमाना, इस मंत्र कि महिमा को,…

श्री राम जहाँ होंगे हनुमान वहां होंगे – भजन

|| श्री राम जहाँ होंगे हनुमान वहां होंगे || तर्ज – जब हम जवां होंगे श्री राम जहाँ होंगे, हनुमान वहां होंगे, दोनों जहाँ होंगे,वहां कल्याण करेंगे, हर काम बनेंगे,श्री राम जहाँ होंगे || || श्री राम का जो भी,ध्यान लगाएगा, बालाजी के दर्शन,वो ही पाएगा, प्रभु राम की भक्ति से,तुम्हे हनुमान मिलेंगे, कल्याण करेंगे,श्री…

राम जी के साथ जो हनुमान नहीं होते – भजन

|| राम जी के साथ जो हनुमान नहीं होते || राम जी के साथ जो,हनुमान नहीं होते, राम जी के पूरे कभी, काम नहीं होते | राम जी के साथ जो,हनुमान नहीं होते, राम जी के पूरे कभी, काम नहीं होते || हनुमान पर्वत उठाकर ना लाते, कैसे संजीवन सुषेण वेद पाते, प्राण जाते लक्ष्मण…

राम राम रामेति मंत्र

राम रामेति एक श्लोक है जिसका अर्थ है “राम का नाम जपना” याँ “राम का स्मरण करना”। और इसका जाप, सम्पूर्ण विष्णु सहस्त्रनाम याँ भगवान विष्णु के 1000 नामों के जाप के समतुल्य है। राम रामेति रामेति रमे रामे मनोरमे मंत्र राम रामेति रामेति रमे रामे मनोरमे। सह्स्रनाम तत्तुल्यं राम नाम वरानने॥ राम राम रामेति…

राम लक्ष्मण के संग जानकी – भजन

|| राम लक्ष्मण के संग जानकी || राम लक्ष्मण के संग जानकी, जय बोलो हनुमान की, राम लक्ष्मण के संग जानकी, जय बोलो हनुमान की || बल बुद्धि हमे ज्ञान दो, नित पापो से हम सब टले, बल बुद्धि हमे ज्ञान दो, नित पापो से हम सब टले, बैठ कर तेरे द्वारे पे हम, तेरे…

रामजी की निकली सवारी रामजी की लीला है न्यारी

|| रामजी की निकली सवारी रामजी की लीला है न्यारी || सर पे मुकुट सजे मुख पे उजाला हाथ धनुष गले में पुष्प माला हम दास इनके ये सबके स्वामी अंजान हम ये अंतरयामी शीश झुकाओ राम गुण गाओ बोलो जय विष्णु के अवतारी रामजी की निकली सवारी, रामजी की लीला है, एक तरफ लक्ष्मण…

हमारे साथ श्री रघुनाथ

|| हमारे साथ श्री रघुनाथ || हमारे साथ श्री रघुनाथ तो किस बात की चिंता । शरण में रख दिया जब माथ तो किस बात की चिंता । किया करते हो तुम दिन रात क्यों बिन बात की चिंता । किया करते हो तुम दिन रात क्यों बिन बात की चिंता । तेरे स्वामी, तेरे…

जग में सुंदर हैं दो नाम

|| जग में सुंदर हैं दो नाम || जग में सुन्दर हैं दो नाम, चाहे कृष्ण कहो या राम । बोलो राम राम राम, बोलो श्याम श्याम श्याम ॥ माखन ब्रज में एक चुरावे, एक बेर भिलनी के खावे । प्रेम भाव से भरे अनोखे, दोनों के हैं काम ॥ बोलो राम राम राम, बोलो…

राम भक्त ले चला रे राम की निशानी

|| राम भक्त ले चला रे राम की निशानी || राम भक्त ले चला रे, राम की निशानी, शीश पर खड़ाऊँ, अखियों में पानी, राम भक्त लें चला रे, राम की निशानी ॥ शीश खड़ाऊ ले चला ऐसे, राम सिया जी संग हो जैसे, अब इनकी छाव में, रहेगी राजधानी, राम भक्त लें चला रे,…

जानकी नाथ सहाय करें – भजन

॥ जानकी नाथ सहाय करें – भजन ॥ जानकी नाथ सहाय करें जानकी नाथ सहाय करें, जब कौन बिगाड़ करे नर तेरो सुरज मंगल सोम भृगु सुत बुध और गुरु वरदायक तेरो राहु केतु की नाहिं गम्यता, संग शनीचर होत हुचेरो जानकी नाथ सहाय करें.. दुष्ट दु:शासन विमल द्रौपदी, चीर उतार कुमंतर प्रेरो ताकी सहाय…

मंगल मूर्ति राम दुलारे

|| मंगल मूर्ति राम दुलारे || मंगल मूरति राम दुलारे, आन पड़ा अब तेरे द्वारे, हे बजरंगबली हनुमान, हे महावीर करो कल्याण, हे महावीर करो कल्याण ॥ तीनों लोक तेरा उजियारा, दुखियों का तूने काज सवारा, हे जगवंदन केसरी नंदन, कष्ट हरो हे कृपा निधान ॥ मंगल मुरति राम दुलारे, आन पड़ा अब तेरे द्वारे,…

जब ते राम भाए घर आए

|| जब ते राम भाए घर आए || जब तें रामु ब्याहि घर आए । नित नव मंगल मोद बधाए ॥ भुवन चारिदस भूधर भारी । सुकृत मेघ बरषहिं सुख बारी ॥1॥ रिधि सिधि संपति नदीं सुहाई । उमगि अवध अंबुधि कहुँ आई ॥ मनिगन पुर नर नारि सुजाती । सुचि अमोल सुंदर सब भाँती…

सजादो घर को गुलशन सा

|| सजादो घर को गुलशन सा || सजा दो घर को गुलशन सा, अवध में राम आए हैं, अवध मे राम आए है, मेरे सरकार आए हैं, लगे कुटिया भी दुल्हन सी, अवध मे राम आए हैं, सजा दो घर को गुलशन सा, अवध मे राम आएं हैं । पखारों इनके चरणों को, बहा कर…

मेरे घर राम आए हैं

|| मेरे घर राम आए हैं || मेरी चौखट पे चलके आज, चारों धाम आए है, बजाओ ढोल स्वागत में, मेरे घर राम आये है, कथा शबरी की जैसे, जुड़ गई मेरी कहानी से, ना रोको आज धोने दो चरण, आँखों के पानी से, बहुत खुश है मेरे आंसू, के प्रभु के काम आए है,…

श्री राम के लिए

|| श्री राम के लिए || जो खेल गये प्राणो पे, श्री राम के लिए, एक बार तो हाथ उठालो, मेरे हनुमान के लिए । एक बार तो हाथ उठालो, मेरे हनुमान के लिए । सागर को लांग के इसने, सीता का पता लगाया, प्रभु राम नाम का डंका, लंका में जाके बजाया , माता…

रघुपति राघव राजा राम

|| रघुपति राघव राजा राम || रघुपति राघव राजाराम पतित पावन सीताराम ॥ सुंदर विग्रह मेघश्याम गंगा तुलसी शालग्राम ॥ रघुपति राघव राजाराम पतित पावन सीताराम ॥ भद्रगिरीश्वर सीताराम भगत-जनप्रिय सीताराम ॥ रघुपति राघव राजाराम पतित पावन सीताराम ॥ जानकीरमणा सीताराम जयजय राघव सीताराम ॥ रघुपति राघव राजाराम पतित पावन सीताराम ॥ रघुपति राघव राजाराम…

जरा देर ठहरो राम

|| जरा देर ठहरो राम || जरा देर ठहरो राम तमन्ना यही है अभी हमने जी भर के देखा नहीं है ॥ कैसी घड़ी आज जीवन की आई । अपने ही प्राणो की करते विदाई । अब ये अयोध्या हमारी नहीं है ॥ माता कौशल्या की आंखों के तारे। दशरथ जी के राज दुलारे ।…

हे राजा राम तेरी आरती उतारूँ

|| हे राजा राम तेरी आरती उतारूँ || हे राजा राम तेरी आरती उतारूँ, आरती उतारूँ प्यारे तुमको मनाऊँ, अवध बिहारी तेरी आरती उतारूँ, हे राजा राम तेरी आरती उतारूँ ॥ कनक सिहासन रजत जोड़ी, दशरथ नंदन जनक किशोरी, युगल छबि को सदा निहारूँ, हे राजा राम तेरी आरती उतारूं ॥ बाम भाग शोभित जग…

राम भक्तों के लिए जरूरी सूचना – अयोध्या राम मंदिर दर्शन और आरती का नया समय, जानें पूरा शेड्यूल

ram ji ayodhya

यह सच है कि अयोध्या राम मंदिर ट्रस्ट ने श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या को देखते हुए रामलला के दर्शन और आरती के समय में बदलाव किया है। अब दर्शन सुबह 6 बजे से रात 10 बजे तक होंगे। इसका मतलब है कि अब श्रद्धालु सुबह 1 घंटे 30 मिनट और शाम को 30 मिनट अधिक…

मेरी झोपड़ी के भाग आज

|| मेरी झोपड़ी के भाग आज || मेरी झोपड़ी के भाग, आज खुल जाएंगे, राम आएँगे, राम आएँगे मेरी झोपडी के भाग, आज खुल जाएंगे, राम आएँगे ॥ राम आएँगे तो, आंगना सजाऊँगी, दिप जलाके, दिवाली मनाऊँगी मेरे जन्मो के सारे, पाप मिट जाएंगे, राम आएँगे, मेरी झोपडी के भाग, आज खुल जाएंगे, राम आएँगे…

नगरी हो अयोध्या सी

|| नगरी हो अयोध्या सी || नगरी हो अयोध्या सी, रघुकुल सा घराना हो । और चरण हो राघव के, जहाँ मेरा ठिकाना हो ॥ हो त्याग भारत जैसा, सीता सी नारी हो । और लवकुश के जैसी संतान हमारी हो ॥ नगरी हो अयोध्या सी, रघुकुल सा घराना हो । और चरण हो राघव…

श्री राम पञ्च रत्न स्तोत्रम

|| श्री राम पञ्च रत्न स्तोत्रम || कञ्जातपत्रायत लोचनाय कर्णावतंसोज्ज्वल कुण्डलाय कारुण्यपात्राय सुवंशजाय नमोस्तु रामायसलक्ष्मणाय ॥ 1 ॥ विद्युन्निभाम्भोद सुविग्रहाय विद्याधरैस्संस्तुत सद्गुणाय वीरावतारय विरोधिहर्त्रे नमोस्तु रामायसलक्ष्मणाय ॥ 2 ॥ संसक्त दिव्यायुध कार्मुकाय समुद्र गर्वापहरायुधाय सुग्रीवमित्राय सुरारिहन्त्रे नमोस्तु रामायसलक्ष्मणाय ॥ 3 ॥ पीताम्बरालङ्कृत मध्यकाय पितामहेन्द्रामर वन्दिताय पित्रे स्वभक्तस्य जनस्य मात्रे नमोस्तु रामायसलक्ष्मणाय ॥ 4 ॥ नमो…

अष्टाक्षर श्रीराम मन्त्र स्तोत्रम

|| अष्टाक्षर श्रीराम मन्त्र स्तोत्रम || स सर्वं सिद्धिमासाद्य ह्यन्ते रामपदं व्रजेत् । चिन्तयेच्चेतसा नित्यं श्रीरामः शरणं मम ॥ १ ॥ विश्वस्य चात्मनो नित्यं पारतन्त्र्यं विचिन्त्य च । चिन्तयेच्चेतसा नित्यं श्रीरामः शरणं मम ॥ २ ॥ अचिन्त्योऽपि शरीरादेः स्वातन्त्र्येणैव विद्यते । चिन्तयेच्चेतसा नित्यं श्रीरामः शरणं मम ॥ ३ ॥ आत्माधारं स्वतन्त्रं च सर्वशक्तिं विचिन्त्य च…

राम मंत्र

|| राम मंत्र || 1. शक्तिशाली राम मंत्र रामाय रामभद्राय रामचन्द्राय वेधसे रघुनाथाय नाथाय सीताया: पतये नमः 2. धन-संपदा के लिए राम मंत्र ॐ क्लीं नमो भगवते रामचन्द्राय सकलजन वश्यकराय स्वाह: || 3. श्री राम गायत्री मंत्र ॐ दाशरथये विद्महे सीतावल्लभाय धीमहि, तन्नो राम प्रचोदयात्॥ 4. कोदण्ड राम मंत्र श्री राम जय राम कोदण्ड राम॥…

श्री रामनवमी व्रत कथा

|| श्री रामनवमी की पौराणिक कथा || त्रेता युग में चैत्र मास की नवमी तिथि के दिन भगवान विष्णु ने अयोध्या के राजा दशरथ के घर में श्रीराम के रूप में अवतार लिया था। श्रीराम का जन्म रावण के अंत के लिए हुआ था। श्रीराम को उनके सुशासन, मर्यादित व्यवहार और सदाचार युक्त शासन के…

सीता राम जी की प्यारी राजधानी लागे – भजन

|| सीता राम जी की प्यारी राजधानी लागे || तर्ज – मीठे रस से भरयो री सीता राम जी की प्यारी, राजधानी लागे, राजधानी लागे, मोहे मिठो मिठो, सरयू जी रो पानी लागे || धन्य कौशल्या धन्य कैकई, धन्य सुमित्रा मैया, धन्य कौशल्या धन्य कैकई, धन्य सुमित्रा मैया, धन्य भूप दशरथ के अँगना, खेलत चारो…

राम कहने से तर जाएगा – भजन

|| राम कहने से तर जाएगा || राम कहने से तर जाएगा, पार भव से उतर जायेगा || उस गली होगी चर्चा तेरी, उस गली होगी चर्चा तेरी, जिस गली से गुजर जायेगा, राम कहने से तर जाएगा || बड़ी मुश्किल से नर तन मिला, बड़ी मुश्किल से नर तन मिला, कल ना जाने किधर…

मेरे राम गाड़ी वाले – भजन

|| जरा धीरे धीरे गाड़ी हांको मेरे राम गाड़ी वाले || जरा धीरे धीरे गाड़ी हांको, मेरे राम गाड़ी वाले, जरा हलके गाड़ी हांको, मेरे राम गाड़ी वाले, जरा हौले हौले गाड़ी हांको, मेरे राम गाड़ी वाले || है जी गाड़ी म्हारी रंग रंगीली, पहिया है लाल गुलाल, गाड़ी म्हारी रंग रंगीली, पहिया है लाल…

ना राम नाम लीनो – भजन

|| ना राम नाम लीनो तेने भरी जवानी में || ना राम नाम लीनो, तेने भरी जवानी में, तू डूब के मर जा रे, चुल्लू भर पानी में || क्या लायो माटी में, मिल जायगो माटी में, एक दिन काया तेरी, कस जाएगी काठी मैं पानी को बबूला है, मिल जाएगो पानी में तू डूब…

वन वन भटके राम – भजन

|| वन वन भटके राम || | चौपाई | आश्रम देखि जानकी हीना भए बिकल जस प्राकृत दीना || विरह व्यथा से, व्यतीत द्रवित हो, बन बन भटके राम, बन बन भटके राम, अपनी सिया को, प्राण पिया को, पग पग ढूंढे राम, विरह व्यथा से, व्यतीत द्रवित हो, बन बन भटके राम, बन बन…

बोल पिंजरे का तोता राम – भजन

|| बोल पिंजरे का तोता राम || बोल पिंजरे का तोता राम, हरे राम राधेश्याम सियाराम रे, हरे राम राधेश्याम सियाराम रे, बोल पिंजरे का तोता राम, हरे राम राधेश्याम सियाराम रे || प्रभु की भक्ति सुबह के जैसी, माया है एक ढलती शाम, दुविधा में ना दोऊ जाए, माया मिले ना तुझको राम, तू…

जगमग जगमग जोत जली है राम आरती होने लगी है – भजन

|| जगमग जगमग जोत जली है राम आरती होने लगी है || जगमग जगमग जोत जली है, राम आरती होन लगी है | जगमग जगमग जोत जली है, राम आरती होन लगी है || भक्ति का दीपक प्रेम की बाती, आरती संत करें दिन राती, आनंद की सरिता उभरी है, राम आरती होन लगी है…

राम की बात करता हूं – भजन

|| मैं और किसी की नहीं, राम की बात करता हूं || जिनके नाम से मैं दिन की शुरुआत करता हूं मैं और किसी की नहीं, राम की बात करता हूं जिनके नाम को प्रेम मैं दिन रात करता हूं मैं और किसी की नहीं, राम की बात करता हूं श्री राम जानकी जय जय…

राम सिया राम – भजन

|| राम सिया राम सिया राम जै जै राम || सिया मुख पर दिख जाये मुस्कान जो राम दरस मिल जाये सिया राम नाम से बनी है जोगन राम नाम की कहाये जिसे प्रीत लगी बस राम से उसकी लाज रखे एक नाम राम सिया राम सिया राम जै जै राम राम सिया राम सिया…

सिया राम के चरणों की – भजन

|| सिया राम के चरणों की || सियाराम के चरणों की, गर धूल जो मिल जाए, सच कहता हे राम, तकदीर बदल जाए, सियाराम के चरणों की || ये मन बड़ा चंचल है, कैसे तेरा भजन करूँ, जितना इसे समझाऊं, उतना ही मचल जाए, सियाराम के चरणो की, गर धूल जो मिल जाए, सच कहता…

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