समुद्र मंथन की वो कथा जिसे पुराणों ने छुपा लिया – जानिए 15वें रत्न का रहस्य जिसे नहीं बताया गया

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भारतीय पौराणिक कथाओं में समुद्र मंथन का प्रसंग एक अत्यंत महत्वपूर्ण और रोमांचक घटना है। यह देवों और असुरों के मध्य हुए उस महान संघर्ष की कहानी है, जिसने ब्रह्मांड में संतुलन स्थापित किया और कई अनमोल रत्नों को जन्म दिया। हम सभी 14 रत्नों के बारे में जानते हैं, जिनमें अमृत, लक्ष्मी, ऐरावत और…

भुवनेश्वरी पंचक स्तोत्र

भुवनेश्वरी पंचक स्तोत्र माँ भुवनेश्वरी को समर्पित एक अत्यंत शक्तिशाली और फलदायी स्तोत्र है। यह स्तोत्र माँ के पांच रूपों का वर्णन करता है, जो सृष्टि, स्थिति और संहार की अधिष्ठात्री देवी हैं। साधक इस स्तोत्र के पाठ से माँ भुवनेश्वरी की असीम कृपा प्राप्त कर सकते हैं, जिससे जीवन में सुख-शांति, समृद्धि और अभीष्ट…

अजा एकादशी व्रत कथा और पूजा विधि

अजा एकादशी व्रत कथा के अनुसार, प्राचीन काल में हरिश्चंद्र नाम के एक सत्यवादी राजा थे। कठिन परिस्थितियों के कारण उन्हें अपनी पत्नी, पुत्र और स्वयं को बेचना पड़ा। एक चांडाल के यहाँ काम करते हुए, उन्होंने अपनी दुर्दशा से मुक्ति पाने के लिए महर्षि गौतम से उपाय पूछा। महर्षि ने उन्हें अजा एकादशी व्रत…

श्री भुवनेश्वरी अष्टोत्तरशतनामवली

श्री भुवनेश्वरी अष्टोत्तरशतनामवली माँ भुवनेश्वरी के 108 पवित्र नामों का संग्रह है। यह दिव्य नामवली भक्तों को देवी के विभिन्न स्वरूपों और गुणों का स्मरण कराती है। माँ भुवनेश्वरी, दस महाविद्याओं में से एक, जगत की अधिष्ठात्री देवी मानी जाती हैं। इनकी उपासना से साधक को ऐश्वर्य, सौभाग्य, धन, संतान और मोक्ष की प्राप्ति होती…

देवी भुवनेश्वरी सहस्रनामावली

देवी भुवनेश्वरी सहस्रनामावली, देवी भुवनेश्वरी के हजारों नामों का एक संग्रह है, जो उनकी महिमा और विविध रूपों का गुणगान करता है। यह नामावली भक्तों को देवी के दिव्य गुणों और शक्तियों को समझने में सहायता करती है। इसके पाठ से आध्यात्मिक शांति, समृद्धि और सभी मनोकामनाओं की पूर्ति होती है। जो भक्त देवी भुवनेश्वरी…

नाग पंचमी कथा (राजा जनमेजय और नाग यज्ञ की कथा)

नाग पंचमी का त्योहार श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाया जाता है। इस दिन नाग देवता की पूजा की जाती है और उन्हें दूध चढ़ाया जाता है। इस त्योहार से जुड़ी कई पौराणिक कथाएं हैं, जिनमें से एक प्रमुख कथा इस प्रकार है: नाग पंचमी की पौराणिक कथा (राजा जनमेजय और…

नाग पंचमी पौराणिक कथा

|| नाग पंचमी पौराणिक कथा || प्राचीन समय की बात है. एक सेठजी के सात बेटे थे और उन सभी की शादी हो चुकी थी. सबसे छोटे बेटे की पत्नी बहुत ही संस्कारी, पढ़ी-लिखी और नेक स्वभाव की थी, लेकिन उसका कोई भाई नहीं था. एक दिन, बड़ी बहू ने घर लीपने के लिए पीली…

2025 में इष्टि और अन्वाधान व्रत कब और कैसे करें? जानिए तिथि, विधि और महत्व की पूरी सूची

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इष्टि और अन्वाधान वैदिक परंपरा के महत्वपूर्ण अनुष्ठान हैं जो अग्निहोत्र से संबंधित हैं। ‘इष्टि’ का अर्थ है यज्ञ या आहुति, जबकि ‘अन्वाधान’ अग्नि स्थापित करने की प्रक्रिया है। ये कर्मकांड वैदिक ऋचाओं और मंत्रों के साथ किए जाते हैं, जिनका उद्देश्य देवताओं का आह्वान करना और उनसे आशीर्वाद प्राप्त करना है। इन अनुष्ठानों का…

क्या गंधर्व और अप्सराएं आज भी करती हैं स्वर्ग में नृत्य? जानिए उनकी उत्पत्ति और रहस्य

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स्वर्ग की कल्पना करते ही हमारे मन में एक भव्य, अलौकिक और सुखमय लोक की छवि उभरती है। इस छवि का एक अभिन्न अंग हैं गंधर्व और अप्सराएं – वे दिव्य प्राणी जो अपनी कला, सौंदर्य और मोहकता से स्वर्ग को जीवंत बनाते हैं। लेकिन क्या ये केवल प्राचीन कथाओं के पात्र हैं, या आज…

मंत्र, तंत्र और यंत्र – क्या है इनका आध्यात्मिक विज्ञान?

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क्या आपने कभी सोचा है कि सदियों से चली आ रही “मंत्र”, “तंत्र” और “यंत्र” की अवधारणाएं सिर्फ अंधविश्वास हैं या इनके पीछे कोई गहरा आध्यात्मिक और वैज्ञानिक रहस्य छिपा है? भारतीय संस्कृति और अध्यात्म में इनका महत्वपूर्ण स्थान रहा है, लेकिन आधुनिक युग में इन्हें अक्सर गलत समझा जाता है या फिर इनका दुरुपयोग…

सप्ताह के व्रत और उनके देवता – कौन सा व्रत किस दिन रखें?

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क्या आप जानते हैं कि सप्ताह के प्रत्येक दिन का अपना एक विशेष महत्व होता है? हमारे सनातन धर्म में, हर दिन किसी न किसी देवी-देवता को समर्पित है, और उनसे संबंधित व्रत रखने से विशेष फल की प्राप्ति होती है। ये व्रत न केवल हमें आध्यात्मिक रूप से मजबूत करते हैं, बल्कि शारीरिक और…

मंदिर जहाँ खुद बसा है ब्रह्मांड – जानिए खजुराहो की गुप्त कथा

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क्या आपने कभी सोचा है कि पत्थर में जीवन कैसे उतर सकता है? या फिर कैसे कुछ हजार साल पहले के कारीगरों ने ऐसी वास्तुकला गढ़ दी, जो आज भी वैज्ञानिकों और कलाकारों को अचंभित करती है? हम बात कर रहे हैं भारत के हृदय, मध्य प्रदेश में बसे खजुराहो के उन मंदिरों की, जिन्हें…

क्या सच में हुआ था समुद्र मंथन? जानिए इसके पीछे की अद्भुत कथा

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भारतीय पौराणिक कथाओं में समुद्र मंथन (Ocean Churning) एक ऐसी घटना है, जिसका जिक्र सदियों से होता आ रहा है। यह एक ऐसी गाथा है जो देवों और असुरों के बीच अमृत प्राप्ति के लिए किए गए विशाल प्रयास को दर्शाती है। लेकिन क्या यह सिर्फ एक कहानी है, या इसके पीछे कोई गहरा अर्थ…

33 कोटि देवता – कितने हैं वास्तव में? जानिए पौराणिक रहस्य

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क्या आपने कभी सोचा है कि “33 कोटि देवता” का अर्थ क्या है? क्या ये वास्तव में 33 करोड़ देवी-देवता हैं, या इसका कोई गहरा अर्थ है? यह प्रश्न सदियों से भक्तों और विद्वानों के बीच कौतूहल का विषय रहा है। आइए, इस पौराणिक रहस्य को खोलें और जानें इसके पीछे का वास्तविक अर्थ। 33…

अगस्त 2025 हिन्दू कैलेंडर – इस अगस्त में क्या है खास? जानिए अगस्त 2025 के सभी हिन्दू पर्व और उपवास की तिथियाँ

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अगस्त का महीना भारतीय संस्कृति में विशेष धार्मिक और आध्यात्मिक महत्व रखता है। यह वह समय होता है जब वर्षा ऋतु अपने चरम पर होती है और वातावरण शुद्ध, पवित्र एवं भक्तिभाव से परिपूर्ण होता है। अगस्त 2025 हिन्दू कैलेंडर के अनुसार, इस महीने में कई महत्वपूर्ण हिन्दू पर्व, उपवास और देवी-देवताओं की पूजन तिथियाँ…

Pitru Paksha 2025 – क्यों किया जाता है श्राद्ध? पितृ पक्ष की तिथियां, नियम, महत्व और मान्यताएं

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पितृपक्ष 08 सितंबर से शुरू हो रहा है। पितृपक्ष के समय लोग अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए तर्पण, पिंडदान और अन्य धार्मिक कार्य करते हैं। इस दौरान, लोग अपने पितरों की तृप्ति के लिए भोजन और जल अर्पित करते हैं। साथ ही ब्राह्मणों को भोजन कराना, उन्हें दान-दक्षिणा देना और पितरों की…

7 Mukhi Rudraksha Secrets – 7 मुखी रुद्राक्ष के रहस्य, कौन पहन सकता है और क्या हैं इसके फायदे?

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7 मुखी रुद्राक्ष एक दिव्य और शक्तिशाली बीज होता है, जिसे हिंदू धर्म में अत्यंत पवित्र और चमत्कारी माना जाता है। विभिन्न मुखी रुद्राक्षों का अलग-अलग देवी-देवताओं से संबंध होता है और वे भिन्न लाभ प्रदान करते हैं। 7 मुखी रुद्राक्ष का विशेष संबंध देवी महालक्ष्मी और भगवान शनि से है। इसे धारण करने से…

संवत्सरी पर्व 2025 – क्षमा और आत्मशुद्धि का पवित्र दिन, ‘मिच्छामि दुक्कड़म्’ का रहस्य, संवत्सरी क्यों है जैन धर्म का सबसे करुणामयी दिन?

Kundalini Jagran

जैन धर्म में संवत्सरी पर्व (Samvatsari Parv) का एक विशेष और अत्यंत महत्वपूर्ण स्थान है। यह दिन केवल एक त्योहार नहीं, बल्कि आत्मचिंतन, क्षमा और शुद्धि का महापर्व है। वर्ष 2025 में, संवत्सरी पर्व, जैन समुदाय के लिए एक और अवसर लेकर आएगा जब वे अपने भीतर झांकेंगे, अपनी गलतियों को स्वीकार करेंगे और सबसे…

Shri Brihaspati Dev Chalisa

Shri Brihaspati Dev, also known as Jupiter, is revered in Hinduism as the Guru (teacher) of the Devas, the gods. He embodies wisdom, knowledge, good fortune, prosperity, and spiritual growth. Reciting the Shri Brihaspati Dev Chalisa is a powerful way to invoke his blessings and seek his divine guidance. || Shri Brihaspati Dev Chalisa PDF…

Shri Brihaspati Dev Aarti

Shri Brihaspati Dev Aarti is a sacred hymn sung in praise of Lord Brihaspati, the Guru of the gods and the deity of wisdom, intellect, and auspiciousness. Devotees chant this aarti on Thursdays to seek his divine blessings for knowledge, clarity in thoughts, spiritual growth, and removal of obstacles in life. You can download the…

हरतालिकेची आरती

हरतालिकेची आरती ही महाराष्ट्रातील स्त्रियांसाठी एक अत्यंत महत्त्वाची आणि पवित्र पूजा मानली जाते. ही आरती पारंपारिकरित्या गणेश चतुर्थीच्या आदल्या दिवशी केली जाते, जेव्हा स्त्रिया भगवान शंकरांना चांगला पती मिळावा किंवा पतीच्या दीर्घायुष्यासाठी प्रार्थना करतात. या पूजेमध्ये देवी पार्वती आणि भगवान शिव यांची उपासना केली जाते. ‘हरतालिकेची आरती PDF’ स्वरूपात उपलब्ध असल्याने ती घराघरात पोहोचली आहे….

हरतालिका तीज व्रत कथा

हरतालिका तीज 2025 में मंगलवार, 26 अगस्त को मनाई जाएगी। यह पावन व्रत सुहागिन महिलाओं द्वारा पति की लंबी आयु और अविवाहित कन्याओं द्वारा मनचाहे वर की प्राप्ति के लिए रखा जाता है। हरतालिका तीज व्रत कथा भगवान शिव और माता पार्वती के अटूट प्रेम की गाथा है। इस कथा का श्रवण और पठन करने…

Shri Mangala Gauri Aarti

Shri Mangala Gauri Aarti is a sacred hymn dedicated to Goddess Mangala Gauri, especially revered during the Shravan month by married women seeking marital bliss and the well-being of their families. Chanting this aarti with devotion brings peace, prosperity, and protection from negative energies. It is commonly performed during the Mangala Gauri Vrat on Tuesdays….

मंगला गौरी आरती

मंगला गौरी आरती, माँ गौरी की भक्ति का एक अनुपम साधन है, जो विशेष रूप से सावन मास के मंगलवार को उनके भक्तों द्वारा गाई जाती है। यह आरती माँ पार्वती के उस स्वरूप को समर्पित है, जो सुख-समृद्धि और अखंड सौभाग्य प्रदान करता है। मंगला गौरी आरती के माध्यम से भक्त अपनी श्रद्धा और…

अहोई माता आरती

अहोई अष्टमी का पावन पर्व, संतान की लंबी आयु और सुख-समृद्धि के लिए मनाया जाता है। इस दिन माताएँ अहोई माता आरती गाकर देवी का आशीर्वाद प्राप्त करती हैं। अहोई माता की महिमा अपरंपार है और उनकी कृपा से सूनी गोद भी भर जाती है। यदि आप अहोई माता की संपूर्ण आरती और पूजन विधि…

श्री छठ माता की आरती

छठ महापर्व, सूर्यदेव और छठी मैया को समर्पित एक अनुपम त्योहार है, जो बिहार, झारखंड, पूर्वी उत्तर प्रदेश और नेपाल के कुछ हिस्सों में बड़ी श्रद्धा के साथ मनाया जाता है। यह पर्व प्रकृति और सृष्टि के प्रति आभार व्यक्त करने का प्रतीक है। छठ मैया की आरती इस पवित्र अनुष्ठान का एक अभिन्न अंग…

करवा चौथ आरती

करवा चौथ का पावन पर्व, अखंड सौभाग्य का प्रतीक है। इस दिन सुहागिन स्त्रियां अपने पति की लंबी आयु और सुख-समृद्धि के लिए निर्जला व्रत रखती हैं। करवा चौथ आरती इस पवित्र अनुष्ठान का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जो पूजा को पूर्णता प्रदान करती है। आरती के बिना कोई भी पूजा अधूरी मानी जाती है।…

श्री ललिता माता आरती

माँ ललिता त्रिपुरसुंदरी, दस महाविद्याओं में सर्वोच्च स्थान रखती हैं। उनकी आराधना से जीवन में सुख-समृद्धि, ज्ञान और मोक्ष की प्राप्ति होती है। श्री ललिता माता आरती उनके भक्तों के लिए एक शक्तिशाली माध्यम है अपनी श्रद्धा अर्पित करने का। यह आरती माँ की महिमा, उनके दिव्य स्वरूप और आशीर्वाद का गुणगान करती है। श्री…

श्री दंतेश्वरी माता आरती

श्री दंतेश्वरी माता आरती छत्तीसगढ़ के बस्तर अंचल में अत्यंत श्रद्धा के साथ गाई जाने वाली आरती है, जो माँ दंतेश्वरी की महिमा और शक्ति का गुणगान करती है। माँ दंतेश्वरी देवी शक्ति की अवतार मानी जाती हैं और बस्तर दशहरा में इनकी विशेष पूजा होती है। भक्तजन इस आरती के माध्यम से माँ से…

श्री हलषष्ठी माता आरती

श्री हलषष्ठी माता आरती का पाठ विशेष रूप से हलषष्ठी व्रत के अवसर पर किया जाता है, जो पुत्र सुख, संतान की दीर्घायु और समृद्धि की प्राप्ति हेतु मनाया जाता है। यह आरती मातृशक्ति की कृपा प्राप्त करने का एक श्रेष्ठ माध्यम है। मान्यता है कि श्री हलषष्ठी माता की आराधना करने से महिलाएं स्वस्थ…

श्री सप्तश्रृंगा अंबा आरती

श्री सप्तश्रृंगा अंबा आरती माँ सप्तश्रृंगी देवी की महिमा का वर्णन करने वाली एक भक्तिपूर्ण आरती है, जो महाराष्ट्र के नासिक जिले में स्थित सप्तश्रृंगी देवी मंदिर में विशेष रूप से गाई जाती है। भक्तगण इस आरती के माध्यम से माँ की कृपा प्राप्त करते हैं और अपने जीवन के संकटों से मुक्ति पाते हैं।…

कर्क संक्रान्ति कथा

कर्क संक्रांति का पर्व सूर्य देव के कर्क राशि में प्रवेश का प्रतीक है। यह वह समय है जब सूर्य दक्षिणायन में प्रवेश करते हैं, यानी दक्षिणी गोलार्ध की ओर अपनी यात्रा शुरू करते हैं। प्राचीन कथाओं के अनुसार, इस दिन भगवान विष्णु योगनिद्रा से जागृत होकर सृष्टि के संचालन का कार्यभार संभालते हैं। यह…

चैत्र अमावस्या व्रत कथा

|| चैत्र अमावस्या व्रत कथा PDF || चैत्र अमावस्या का दिन धार्मिक दृष्टि से अत्यंत महत्वपूर्ण माना जाता है। यह दिन पितरों की शांति और दान-पुण्य के लिए समर्पित है। इस दिन व्रत रखने और कथा सुनने का विशेष महत्व है। आइए जानते हैं चैत्र अमावस्या व्रत कथा: पौराणिक कथा के अनुसार, प्राचीन काल में…

आषाढ़ अमावस्या व्रत कथा

|| आषाढ़ अमावस्या व्रत कथा PDF || प्राचीन काल में एक ब्राह्मण दंपत्ति थे, जो भगवान विष्णु के परम भक्त थे। वे अपना अधिकांश समय पूजा-पाठ और ध्यान में व्यतीत करते थे। उनके घर में धन-धान्य की कोई कमी नहीं थी, लेकिन संतान न होने के कारण वे बहुत दुखी रहते थे। एक दिन ब्राह्मण…

आश्विन अमावस्या व्रत कथा

आश्विन अमावस्या, जिसे सर्वपितृ अमावस्या या महालय अमावस्या के नाम से भी जाना जाता है, पितृ पक्ष का अंतिम दिन होता है। यह दिन पितरों को विदा करने और उनका आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण माना जाता है। इस दिन व्रत कथा का पाठ करने और सुनने से पितरों को शांति मिलती है…

भाद्रपद अमावस्या व्रत कथा

|| भाद्रपद अमावस्या व्रत कथा PDF || भाद्रपद अमावस्या को पिठोरी अमावस्या या पोलाला अमावस्या के नाम से भी जाना जाता है। इस दिन संतान की लंबी आयु और सुख-समृद्धि के लिए व्रत रखा जाता है। इस व्रत से जुड़ी एक पौराणिक कथा इस प्रकार है: बहुत समय पहले की बात है, एक नगर में…

Guru Purnima 2025 – क्यों माना जाता है यह दिन सबसे शुभ? गुरु पूर्णिमा पर करें ये उपाय, मिलेगा जीवन में अद्भुत मार्गदर्शन

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गुरु ब्रह्मा, गुरु विष्णु, गुरु देवो महेश्वरा। गुरु साक्षात् परब्रह्मा, तस्मै श्री गुरुवे नमः।। यह श्लोक गुरु के महत्व को दर्शाता है, जो हमें अंधकार से प्रकाश की ओर ले जाते हैं। भारतीय संस्कृति में गुरु का स्थान भगवान से भी ऊपर माना गया है, और इसी भावना को समर्पित है गुरु पूर्णिमा का पावन…

कार्तिक अमावस्या व्रत कथा

कार्तिक अमावस्या का दिन अत्यंत महत्वपूर्ण माना जाता है, क्योंकि इसी दिन दीपावली का महापर्व भी मनाया जाता है। इस दिन व्रत रखने और पूजा करने से धन, सुख और समृद्धि की प्राप्ति होती है। कार्तिक अमावस्या से जुड़ी कई पौराणिक कथाएं प्रचलित हैं, जिनमें से एक यहाँ प्रस्तुत है: || कार्तिक अमावस्या व्रत कथा…

मार्गशीर्ष अमावस्या व्रत कथा

मार्गशीर्ष अमावस्या का हिन्दू धर्म में विशेष महत्व है। इसे ‘अगहन अमावस्या’ के नाम से भी जाना जाता है। यह दिन पितरों के तर्पण, स्नान और दान-धर्म के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है। इस दिन व्रत और पूजन करने से पापों का नाश होता है और जीवन में सुख-समृद्धि आती है। || मार्गशीर्ष अमावस्या…

2025 Amavasya Date List – 2025 अमावस्या कैलेंडर, जानें सभी मासिक अमावस्या तिथियाँ, कब करें तर्पण, दान और ध्यान

Amavasya list

साल 2025 में अमावस्या की तिथियाँ महत्वपूर्ण हैं, क्योंकि यह दिन पितरों के तर्पण, दान और ध्यान के लिए विशेष माना जाता है। हर महीने कृष्ण पक्ष की अंतिम तिथि अमावस्या कहलाती है, जब चंद्रमा अदृश्य होता है। यह आत्मचिंतन और आध्यात्मिक शुद्धि का समय है। अमावस्या पर पितरों का तर्पण विशेष फलदायी होता है, जिससे…

बुधवार व्रत कथा

बुधवार व्रत हिन्दू धर्म में विशेष महत्व रखता है। यह व्रत भगवान गणेश को समर्पित होता है। इस दिन व्रत करने से बुद्धि, विद्या और समृद्धि की प्राप्ति होती है। व्रती को प्रातः स्नान कर स्वच्छ वस्त्र धारण करने चाहिए और भगवान गणेश की मूर्ति के सामने दीप प्रज्वलित कर कथा सुननी चाहिए। कथा के…

श्री गणेश हृदयम्

गणेश हृदयम् भगवान गणेश के हृदय स्वरूप का गुणगान करने वाला एक अत्यंत शक्तिशाली और गूढ़ स्तोत्र है। यह स्तोत्र साधकों को आध्यात्मिक शक्ति, बुद्धि, समृद्धि और विघ्न-विनाशक कृपा प्रदान करता है। गणेश को विघ्नहर्ता कहा जाता है, और इस स्तोत्र का पाठ सभी प्रकार की बाधाओं को दूर करने में सहायक होता है। जो…

क्या आप जानते हैं? हर देवता का अलग होता है गायत्री मंत्र, जानिए संपूर्ण सूची और लाभ

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गायत्री मंत्र का नाम सुनते ही हम में से अधिकांश के मन में ॐ भूर्भुवः स्वः तत्सवितुर्वरेण्यं भर्गो देवस्य धीमहि धियो यो नः प्रचोदयात् मंत्र आता है। यह ऋग्वेद से लिया गया एक अत्यंत शक्तिशाली और प्रसिद्ध मंत्र है, जो सविता देवता (सूर्य देव) को समर्पित है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि हमारे प्रत्येक…

Jayaparvati Vrat 2025 – क्या आप जानती हैं जयापार्वती व्रत का रहस्य? जानें इसकी पूजा विधि और चमत्कारी लाभ

jayaparvati vrat

हर साल की तरह, इस साल भी जयापार्वती व्रत विवाहित महिलाओं और अविवाहित कन्याओं के लिए एक विशेष महत्व रखता है। यह व्रत भगवान शिव और माता पार्वती को समर्पित है और माना जाता है कि इसे श्रद्धापूर्वक करने से अखंड सौभाग्य, सुखी वैवाहिक जीवन और योग्य संतान की प्राप्ति होती है। आइए जानते हैं…

वासुदेवाष्टकम्

|| वासुदेवाष्टकम् (Vaasudev Ashtakam PDF) || ॥ अथ श्री वासुदेवाष्टकं ॥ श्रीवासुदेव सरसीरुहपाञ्चजन्यकौमोदकीभयनिवारणचक्रपाणे । श्रीवत्सवत्स सकलामयमूलनाशिन् श्रीभूपते हर हरे सकलामयं मे ॥ १॥ गोविन्द गोपसुत गोगणपाललोल गोपीजनाङ्गकमनीयनिजाङ्गसङ्ग । गोदेविवल्लभ महेश्वरमुख्यवन्द्य श्रीभूपते हर हरे सकलामयं मे ॥ २॥ नीलाळिकेश परिभूषितबर्हिबर्ह काळांबुदद्युतिकळायकळेबराभ । वीर स्वभक्तजनवत्सल नीरजाक्ष श्रीभूपते हर हरे सकलामयं मे ॥ ३॥ आनन्दरूप जनकानकपूर्वदुन्दुभ्यानन्दसागर सुधाकरसौकुमार्य ।…

श्री वराहाष्टोत्तरशतनाम स्तोत्रम्

श्री वराहाष्टोत्तरशतनाम स्तोत्रम् भगवान विष्णु के वराह अवतार को समर्पित एक अत्यंत प्रभावशाली स्तोत्र है, जिसमें उनके 108 दिव्य नामों का वर्णन किया गया है। इस स्तोत्र का पाठ करने से भक्तों को नकारात्मक शक्तियों से मुक्ति, भूमि संबंधी कष्टों से राहत और आध्यात्मिक उन्नति प्राप्त होती है। “श्री वराहाष्टोत्तरशतनाम स्तोत्रम् pdf” डाउनलोड कर इसका…

पोलाला अमावस्या व्रत 2025 – जानिए पिठोरी अमावस्या व्रत का महत्व, नियम और पूजा विधान

Polala-Amavasya

साल 2025 में पिठोरी अमावस्या 22 अगस्त, शुक्रवार को पड़ रही है। भाद्रपद मास की इस अमावस्या का हिंदू धर्म में विशेष महत्व है। इस दिन माताएं अपनी संतान की लंबी आयु और सुख-समृद्धि के लिए व्रत रखती हैं। मान्यता है कि इस दिन देवी दुर्गा की पूजा करने से संतान से जुड़ी सभी मनोकामनाएं…

आरती रामदासा – रामदासाची आरती

ही रामदासाची आरती PDF केवळ भक्तीचा अनुभव देत नाही, तर आपल्या मनाला स्थैर्य, प्रेरणा आणि आध्यात्मिक बळही प्रदान करते. आरतीच्या ओळींमध्ये संत रामदास स्वामींचे गुणगान, त्यांचे समाजासाठी केलेले कार्य आणि भगवंतावरची अटळ श्रद्धा यांचे वर्णन आहे. ही आरती म्हणताना मन भक्तिभावाने ओतप्रोत होते आणि आपल्या जीवनातील अडचणी दूर होण्यास मदत मिळते. रामदासाची आरती PDF डाउनलोड…

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