आज के दौर में एक अच्छी नौकरी पाना किसी चुनौती से कम नहीं है। कड़ी मेहनत, अच्छी योग्यता और इंटरव्यू में बेहतरीन प्रदर्शन के बाद भी अगर आपको सफलता नहीं मिल पा रही है, तो इसके पीछे ज्योतिषीय कारण हो सकते हैं। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, कुंडली में ग्रहों की स्थिति हमारी जिंदगी के हर पहलू को प्रभावित करती है, और करियर के मामले में बृहस्पति (गुरु) ग्रह की भूमिका सबसे अहम मानी जाती है।
अगर आपकी कुंडली में बृहस्पति कमजोर है, तो यह आपकी नौकरी और करियर में रुकावटें पैदा कर सकता है। लेकिन घबराने की ज़रूरत नहीं है! आज हम आपको कुछ ऐसे सरल और अचूक उपाय बताएंगे, जिन्हें अपनाकर आप अपने बृहस्पति को मजबूत कर सकते हैं और नौकरी की राह में आ रही सभी बाधाओं को दूर कर सकते हैं।
बृहस्पति (गुरु) ग्रह क्यों है नौकरी और करियर के लिए इतना महत्वपूर्ण?
ज्योतिष में बृहस्पति को “देवगुरु” का दर्जा प्राप्त है। यह ज्ञान, बुद्धि, शिक्षा, आध्यात्मिकता, धन और विस्तार का कारक ग्रह है।
- बृहस्पति की कृपा से ही व्यक्ति को सही समय पर सही निर्णय लेने की क्षमता मिलती है। एक मजबूत गुरु आपको इंटरव्यू में आत्मविश्वास और बुद्धिमत्ता प्रदान करता है।
- यह ग्रह शुभ अवसरों का निर्माण करता है। जब बृहस्पति मजबूत होता है, तो नौकरी के अवसर खुद-ब-खुद आपके पास आने लगते हैं।
- गुरु की शुभ स्थिति व्यक्ति को उच्च पदों पर पहुंचाती है और समाज में सम्मान दिलाती है। जब कुंडली में बृहस्पति कमजोर या पीड़ित होता है, तो व्यक्ति को नौकरी में देरी, असफलता, काम में मन न लगना और अधिकारियों से संबंध खराब होने जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।
नौकरी में सफलता के लिए बृहस्पति के अचूक और सरल उपाय
इन उपायों को नियमित रूप से अपनाकर आप अपने बृहस्पति को बलवान बना सकते हैं और नौकरी की बाधाओं को दूर कर सकते हैं।
गुरुवार का व्रत और पूजा
गुरुवार का दिन देवगुरु बृहस्पति को समर्पित है। इस दिन व्रत रखने और पूजा करने से गुरु ग्रह की विशेष कृपा मिलती है। गुरुवार को सुबह जल्दी उठकर स्नान करें। पीले रंग के वस्त्र पहनें (अगर संभव हो)। भगवान विष्णु की पूजा करें और उन्हें पीले फूल, हल्दी, चने की दाल और गुड़ अर्पित करें। भगवान विष्णु के “ॐ नमो भगवते वासुदेवाय” मंत्र का 108 बार जाप करें। गुरु ग्रह के बीज मंत्र “ॐ बृं बृहस्पतये नमः” का जाप करना भी अत्यंत लाभकारी है।
दान का महत्व
दान करना ज्योतिष में ग्रहों को शांत करने का सबसे प्रभावी तरीका माना जाता है। गुरुवार के दिन किसी मंदिर में या किसी ज़रूरतमंद को चने की दाल, हल्दी, गुड़, बेसन के लड्डू, पीले फल या पीले वस्त्र दान करें। ब्राह्मणों, शिक्षकों या पुजारियों को दान देना विशेष रूप से फलदायी होता है, क्योंकि वे गुरु के प्रतीक माने जाते हैं।
ज्योतिषीय रत्न और रुद्राक्ष
रत्न और रुद्राक्ष ग्रहों की ऊर्जा को संतुलित करने में मदद करते हैं। बृहस्पति का मुख्य रत्न पुखराज है। इसे धारण करने से गुरु की स्थिति मजबूत होती है। हालांकि, इसे किसी योग्य ज्योतिषी की सलाह के बिना धारण न करें। यह रुद्राक्ष भी बृहस्पति से संबंधित माना जाता है। इसे धारण करने से ज्ञान, समृद्धि और नौकरी में सफलता मिलती है।
विशेष टोटके और व्यवहारिक उपाय
- नहाने के पानी में थोड़ी सी हल्दी मिलाकर स्नान करें। माथे पर केसर या हल्दी का तिलक लगाएं। यह उपाय गुरु की सकारात्मक ऊर्जा को आकर्षित करता है।
- अपने शिक्षकों, माता-पिता और बड़े-बुजुर्गों का हमेशा सम्मान करें। उनका आशीर्वाद आपके बृहस्पति को मजबूत करता है।
- गुरुवार को पीले रंग के कपड़े पहनना शुभ माना जाता है। अपने खान-पान में भी पीले रंग की चीज़ें (जैसे केला, बेसन, दाल) शामिल करें।
- गुरुवार के दिन केले के पेड़ की पूजा करें। पेड़ के पास दीपक जलाएं और उसकी जड़ में जल अर्पित करें। ध्यान दें, इस दिन केले का सेवन न करें।
गौ माता की सेवा
गौ माता में सभी देवी-देवताओं का वास माना जाता है। गुरुवार को गौ माता को चने की दाल और गुड़ खिलाने से बृहस्पति देव प्रसन्न होते हैं।
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