श्री नन्दकुमार अष्टकम्

Nandkumar

॥ श्री नन्दकुमाराष्टकम् ॥ सुन्दरगोपालम् उरवनमालंनयनविशालं दुःखहरं। वृन्दावनचन्द्रमानन्दकन्दंपरमानन्दं धरणिधर वल्लभघनश्यामं पूर्णकामंअत्यभिरामं प्रीतिकरं। भज नन्दकुमारं सर्वसुखसारंतत्त्वविचारं ब्रह्मपरम्॥ सुन्दरवारिजवदनं निर्जितमदनंआनन्दसदनं मुकुटधरं। गुञ्जाकृतिहारं विपिनविहारंपरमोदारं चीरहर वल्लभपटपीतं कृतउपवीतंकरनवनीतं विबुधवरं। भज नन्दकुमारं सर्वसुखसारंतत्त्वविचारं ब्रह्मपरम्॥ शोभितमुखधूलं यमुनाकूलंनिपटअतूलं सुखदतरं। मुखमण्डितरेणुं चारितधेनुंवादितवेणुं मधुरसुर वल्लभमतिविमलं शुभपदकमलंनखरुचिअमलं तिमिरहरं। भज नन्दकुमारं सर्वसुखसारंतत्त्वविचारं ब्रह्मपरम्॥ शिरमुकुटसुदेशं कुञ्चितकेशंनटवरवेशं कामवरं। मायाकृतमनुजं हलधरअनुजंप्रतिहतदनुजं भारहर वल्लभव्रजपालं सुभगसुचालंहितमनुकालं भाववरं। भज नन्दकुमारं सर्वसुखसारंतत्त्वविचारं ब्रह्मपरम्॥…

गिरिधारी आरती

॥ आरती ॥ जय जय गिरिधारी प्रभु, जय जय गिरिधारी। दानव-दल-बलहारी, गो-द्विज-हितकारी॥ जय जय गिरिधारी प्रभु, जय जय गिरिधारी। जय गोविन्द दया निधि, गोवर्धन-धारी। वन्शीधर बनवारी ब्रज-जन-प्रियकारी॥ जय जय गिरिधारी प्रभु, जय जय गिरिधारी। गणिका-गीध-अजामिल गजपति-भयहारी। आरत-आरति-हारी, जग-मन्गल-कारी॥ जय जय गिरिधारी प्रभु, जय जय गिरिधारी। गोपालक, गोपेश्वर, द्रौपदि-दुखदारी। शबर-सुता-सुखकारी, गौतम-तिय तारी॥ जय जय गिरिधारी प्रभु,…

नटवर आरती

॥ आरती ॥ नन्द-सुवन जसुमतिके लाला, गोधन गोपी प्रिय गोपाला। देवप्रिय असुरनके काला, मोहन विश्वविमोहन वर की॥ आरती कीजै श्रीनटवर जी की। जय वसुदेव-देवकी-नन्दन, कालयवन-कन्सादि-निकन्दन। जगदाधार अजय जगवन्दन, नित्य नवीन परम सुन्दर की॥ आरती कीजै श्रीनटवर जी की। अकल कलाधर सकल विश्वधर, विश्वम्भर कामद करुणाकर। अजर, अमर, मायिक, मायाहर, निर्गुन चिन्मय गुणमन्दिर की॥ आरती कीजै…

श्री कृष्ण कन्हैया आरती

॥ आरती ॥ मथुरा कारागृह अवतारी, गोकुल जसुदा गोद विहारी। नन्दलाल नटवर गिरधारी, वासुदेव हलधर भैया की॥ आरती श्रीकृष्ण कन्हैया की। मोर मुकुट पीताम्बर छाजै, कटि काछनि, कर मुरलि विराजै। पूर्ण सरक ससि मुख लखि लाजै, काम कोटि छवि जितवैया की॥ आरती श्रीकृष्ण कन्हैया की। गोपीजन रस रास विलासी, कौरव कालिय, कन्स बिनासी। हिमकर भानु,…

Giridhari Aarti

॥ Aarti ॥ Jai Jai Giridhari Prabhu,Jai Jai Giridhari। Danava-Dala-Balahari,Go-Dwija Hitakari॥ Jai Jai Giridhari Prabhu, Jai Jai Giridhari। Jai Govinda Dayanidhi,Govardhana-Dhari। Vanshidhara BanavariBraja-Jana-Priyakari॥ Jai Jai Giridhari Prabhu, Jai Jai Giridhari। Ganika-Gidha-AjamilaGajapati-Bhayahari। Arata-Aarti-Hari,Jaga-Mangala-Kari॥ Jai Jai Giridhari Prabhu ,Jai Jai Giridhari। Gopalaka, Gopeshwara,Draupadi-Dukhadari। Shabara-Suta-Sukhakari,Gautama-Tiya Tari॥ Jai Jai Giridhari Prabhu, Jai Jai Giridhari। Jana-Prahlada-Pramodaka,Narahari-Tanu-Dhari। Jana-Mana-Ranjanakari,Diti-Suta-Sanhari॥ Jai Jai Giridhari…

Natavara Aarti

॥ Aarti ॥ Nanda-Suvana Jasumatike Lala, Godhana Gopi Priya Gopala। Devapriya Asuranake Kala, Mohana Vishwavimohana Vara Ki॥ Aarti Kijai Shri Natavara Ji Ki। Jai Vasudeva-Devaki-Nandana, Kalayavana-Kansadi-Nikandana। Jagadadhara Ajaya Jagavandana, Nitya Navina Parama Sundara Ki॥ Aarti Kijai Shri Natavara Ji Ki। Akala Kaladhara Sakala Vishwadhara, Vishwambhara Kamada Karunakara। Ajara, Amara, Mayika, Mayahara, Nirguna Chinmaya Gunamandira Ki॥…

Shri Krishna Kanhaiya Aarti

॥ Aarti ॥ Mathura Karagriha Avatari, Gokula Jashuda Goda Vihari। Nandalala Natavara Giridhari, Vasudeva Haladhara Bhaiya Ki॥ Aarti Shri Krishna Kanhaiya Ki। Mora Mukuta Pitambara Chhajai, Kati Kachhani Kara Murali Virajai। Purna Sarada Sasi Mukha Lakhi Lajai, Kama Koti Chhabi Jitavaiya Ki॥ Aarti Shri Krishna Kanhaiya Ki। Gopijana Rasa Rashi Vilasi, Kaurava Kaliya Kansa Vinasi।…

श्री बाँकेबिहारी आरती

॥ आरती ॥ श्री बाँकेबिहारी तेरी आरती गाऊँ। कुन्जबिहारी तेरी आरती गाऊँ। श्री श्यामसुन्दर तेरी आरती गाऊँ। श्री बाँकेबिहारी तेरी आरती गाऊँ॥ मोर मुकुट प्रभु शीश पे सोहे। प्यारी बंशी मेरो मन मोहे। देखि छवि बलिहारी जाऊँ। श्री बाँकेबिहारी तेरी आरती गाऊँ॥ चरणों से निकली गंगा प्यारी। जिसने सारी दुनिया तारी। मैं उन चरणों के…

श्री कृष्णा जन्माष्टमी व्रत कथा

|| कृष्णा जन्माष्टमी व्रत कथा || द्वापर युग में जब पृथ्वी पाप तथा अत्याचारों से तपने लगी| तब वह गाय का रूप बनाकर सृष्टिकर्ता ब्रह्मा जी के पास गई| ब्रह्मा जी ने जब सभी देवताओं के साथ पृथ्वी जी की दुख भरी कथा सुनी तब सभी देवताओं ने ब्रह्मा जी से कहा यह तो अत्यंत…

श्री कृष्णाष्टकम्

॥ श्री कृष्णाष्टकम् ॥ भजे व्रजैक मण्डनम्, समस्त पाप खण्डनम्, स्वभक्त चित्त रञ्जनम्, सदैव नन्द नन्दनम्, सुपिन्छ गुच्छ मस्तकम् , सुनाद वेणु हस्तकम् , अनङ्ग रङ्ग सागरम्, नमामि कृष्ण नागरम् ॥ मनोज गर्व मोचनम् विशाल लोल लोचनम्, विधूत गोप शोचनम् नमामि पद्म लोचनम्, करारविन्द भूधरम् स्मितावलोक सुन्दरम्, महेन्द्र मान दारणम्, नमामि कृष्ण वारणम् ॥ कदम्ब…

Shri Yugal Ashtakam

॥ Yugal Ashtakam ॥ Krishnapremamayi Radha Radhaprem Mayo Hari: । Jivanen Dhane Nitya Radhakrishnagatirmam ॥ Krishnasya Dravinam Radha Radhaya: Dravinam Hari: । Jivanen Dhane Nitya Radhakrishnagatirmam ॥ Krishnapranamayi Radha Radhapranamayo Hari: । Jivanen Dhane Nitya Radhakrishnagatirmam ॥ Krishnadravamayi Radha Radhadravamayo Hari: । Jivanen Dhane Nitya Radhakrishnagatirmam ॥ Krishna Gehe Sthita Radha Radha Gehe Sithton Hari:…

श्री युगलाष्टकम्

॥ युगलाष्टकम् ॥ कृष्णप्रेममयी राधा राधाप्रेम मयो हरिः । जीवनेन धने नित्यं राधाकृष्णगतिर्मम् ॥ कृष्णस्य द्रविणं राधा राधायाः द्रविणं हरिः । जीवनेन धने नित्यं राधाकृष्णगतिर्मम् ॥ कृष्णप्राणमयी राधा राधाप्राणमयो हरिः । जीवनेन धने नित्यं राधाकृष्णगतिर्मम् ॥ कृष्णद्रवामयी राधा राधाद्रवामयो हरिः । जीवनेन धने नित्यं राधाकृष्णगतिर्मम् ॥ कृष्ण गेहे स्थिता राधा राधा गेहे स्थितो हरिः ।…

Madhurashtakam

|| Madhurashtakam || Adharam Madhuram Vadanam Madhuram Nayanam Madhuram Hasitam Madhuram Hridayam Madhuram Gamanam Madhuram Madhur-Adipater Akhilam Madhuram || Vachanam Madhuram Charitam Madhuram Vasanam Madhuram Valitam Madhuram Chalitam Madhuram Bhramitam Madhuram Madhur-Adipater Akhilam Madhuram || Venur Madhuro Renur Madhurah Panir Madhurah Padau Madhurau Nrityam Madhuram Shakhyam Madhuram Madhur-Adipater Akhilam Madhuram || Gitam Madhuram Pitam Madhuram…

मधुराष्टकम्

॥ मधुराष्टकम् ॥ अधरं मधुरं वदनं मधुरं नयनं मधुरं हसितं मधुरं । हृदयं मधुरं गमनं मधुरं मधुराधिपते रखिलं मधुरं ॥ वचनं मधुरं चरितं मधुरं वसनं मधुरं वलितं मधुरं । चलितं मधुरं भ्रमितं मधुरं मधुराधिपते रखिलं मधुरं ॥ वेणुर्मधुरो रेणुर्मधुरः पाणिर्मधुरः पादौ मधुरौ । नृत्यं मधुरं सख्यं मधुरं मधुराधिपते रखिलं मधुरं ॥ गीतं मधुरं पीतं मधुरं…

श्री कृष्ण चालीसा

॥ दोहा ॥ बंशी शोभित कर मधुर,नील जलद तन श्याम। अरुण अधर जनु बिम्बा फल,पिताम्बर शुभ साज॥ जय मनमोहन मदन छवि,कृष्णचन्द्र महाराज। करहु कृपा हे रवि तनय,राखहु जन की लाज॥ ॥ चौपाई ॥ जय यदुनंदन जय जगवंदन। जय वसुदेव देवकी नन्दन॥ जय यशुदा सुत नन्द दुलारे। जय प्रभु भक्तन के दृग तारे॥ जय नटनागर, नाग…